January 24, 2025
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ब्यूरो: एशिया के दक्षिण पूर्व का द्वीप देश थाईलैंड दुनिया का एक प्रमुख पर्यटन स्थल है और दुनिया भर के पर्यटक इस देश के खूबसूरत समुद्र तटों को देखने आते हैं । समुद्र से घिरा होने के कारण यहां साल भर पर्यटकों का आना-जाना लगा रहता है। पर्यटन इस देश में आय का प्रमुख जरिया भी है और लोगों की आजीविका भी काफी हद तक इससे जुड़ी हुई है। आमतौर पर थाइलैंड का जिक्र पर्यटन के हवाले से ही किया जाता है, लेकिन इस देश की चर्चा कुछ और कारणों से भी होती है. हाल में एक किताब के सामने आने के बाद थाईलैंड में रेंटल वाइफ के चलन को लेकर नई बहस छिड़ गई है. इस अजीब चलन के रूट्स थाईलैंड के पटाया की परंपराओं में है। यह एक तरह का अस्थाई विवाह होता है, जिसमें किसी युवती को पैसे देकर कुछ समय के लिए पत्नी बनाया जा सकता है। तय समय तक वह युवती वाइफ के सारे फर्ज अदा करती है। हालांकि, यह प्रथा अब एक व्यवसाय का रूप लेती जा रही है। आइए जानते हैं क्या है थाईलैंड में तेजी से फलता- फूलता रेंटल वाइफ का चलन, कौन होती है रेंटल वाइफ और कितने समय के लिए बनती हैं ये वाइफ।

हाल ही में लावर्ट ए इमैनुएल किताब थाई टैबू-द राइज ऑफ वाइफ रेंटल इन मॉडर्न सोसाइटी: एक्सप्लोरिंग लव, कॉमर्स एंड कॉन्ट्रोवर्सी इन थाइलैंड्स वाइफ रेंटल फेनोमेनन है, ने इस चलन के बारे में पूरी दुनिया को बताया।इस किताब में बताया गया है कि थाईलैंड में पत्नी को किराये पर रखने की विवादास्पद प्रथा कैसे तेजी से अब बढ़ रही है और यह आय का एक प्रमुख स्रोत बनती जा रही है।यह वहां की महिलाओं के लिए जीविका साधन बन गई है।

थाईलैंड में बड़ी संख्या में विदेशी पर्यटक आते हैं। देश में दूर दराज और ग्रामीण इलाकों की लड़कियां पैसों के लिए पर्यटकों की रेंटल वाइफ बनती हैं। यह ट्रेंड थाईलैंड के पटाया के रेड लाइट इलाके, बार और नाइट क्लबों से अपना व्यवसाय चलाते हैं। थाईलैंड में यह  व्यवसाय के रूप में तेजी से फैल रहा है।

महिलाएं पैसा कमाने और परिवार का भरण-पोषण करने के लिए इस तरह के काम करती हैं। ये महिलाएं मुख्य रूप से बार या नाइट क्लब में काम करती हैं और बेहतर ग्राहक मिलने पर रेंटल वाइफ बन जाती हैं। किराए की रकम महिला की उम्र, सुंदरता और शिक्षा और समय के अनुसार तय होती है। रकम 1600 डॉलर से 116000 डॉलर तक हो सकती है. इस प्रथा को लेकर थाईलैंड में कोई कानून नहीं है।

थाईलैंड की सरकार का भी मानना है कि रेंटल वाइफ की प्रथा देश में मौजूद है और पर्यटकों के कारण यह व्यवसाय का रूप ले चुकी है। सरकार का मानना है कि इस प्रथा को नियंत्रित करने के लिए कानून बनाए जाने की जरूरत है.